फ़्रांस भारत संबन्ध।.... पुरानी दोस्ती गहरे राज। लेबलों वाले संदेश दिखाए जा रहे हैं. सभी संदेश दिखाएं
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शुक्रवार, 26 जनवरी 2024

फ़्रांस भारत संबन्ध।....शेष दुनियाँ के लिए प्रेरणा दायक।

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प्रेरणा डायरी।


इस समय दुनिया में घट रही महत्वपूर्ण घटनाओ में से एक है, France और भारत संबन्ध। फ़्रांस के प्रेसीडेंट एमनुल मैक्रो भारत की ऐतिहासिक यात्रा पर है। दोनों देशों की सांझेदारी और दोस्ती एक नये युग में प्रवेश कर रही है। 

आज ""प्रेरणा डायरी"" के इस अर्टिकल् में आप जांनगे कि वो कौन कौन सी खास बाते है जो भारत और फ़्रांस को इतना करीब ला रही हैं...? और क्या है दोनों देशों के साँझा हित। तो आईये इन सब फैक्टर्स को समझने का प्रयाश करते है। 

भारतृ-फ्रास सहयोग का आज से नया  अध्याय।फ्रांस के राष्ट्रपति इमानुएल मैक्रो  का भारत दौरा जयपुर से शुरू होने का खास मतलब है। |  पिछले साल प्रधानमंत्री नरेंद्र  मोदी की फ्रांस यात्रा के  दौरान मैक्रों ने उनके साथ. सेल्फी सोशल मीडिया पर॒  पोस्ट करते हुए हिंदी में लिखा था -भारत और फ्रांस के बीच दोस्ती अमर रहे।  अब मेक्रों के भारत दौरे को इसी दोस्ती के नए आयाम के तोर पर देखा जा रहा है।  उपरोक्त संदर्भों की प्रटभुमि का इस्तेमाल करते हुए.प्रेरणा डायरी ने ये खास अर्टिकल्  तैयार किया है। इसमें ट्विन सिटी के रूप में  पेरिस और जयपुर की  कल्पना करते हुए दोनों देशों के साझे विकास की परिकल्पना निहित है जो भारत-फ़ांस के बीच सहयोग का नया अध्याय शुरू कर  सूकती है। 


भारत और फ़्रांस के गहरे होते संबंधों कि आज नयी एबारत लिखी जाएगी। 
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और फ़्रांस के राष्टृपति एमानुअल् मैक्रो की जयपुर ( राजस्थान, इंडिया) मे होने वाली द्विपकछीय वार्ता पर पूरी दुनिया कि नजरे रहेंगी। अपने रक्षा क्षेत्र की मजबूती के लिहाज से भारत के लिए यह एक महत्व पूर्ण घटना क्रम है। भारत और फ़्रांस के मध्य मजबूत रक्षा संबन्ध रहे है। देश के कुल रक्षा आयात का 29 फीसदी अकेले फ़्रांस से होता है। दुनिया के बदलते भू राजनीतिक समीकरण भारत और फ़्रांस को करीब ला रहे है। रक्षा क्षेत्र के अलावा दोनों देशों के मध्य व्यापार बड़ाने पर भी चर्चा होगी। भारत और फ़्रांस के मध्य मुक्त व्यापार के लिए भी रास्ते खुलनगे। 

ऐतिहासिक होगी भारत फ़्रांस दोस्ती-


फ़्रांस के राष्ट्रपति इमानुएल मैक्रों के गुरुवार को शुरू होने वाले भारत दौरे से दोनों देशों के  बीच द्रिपक्षीय संबंधों को नए आयाम  मिलने के साथ विभिन क्षेत्रों में  साझेदारी बढ़ाने के कुछ और द्वार  खुलने के आसार हैं। मेक्रों का दोरा जयपुर से शुरू होगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र  मोदी भी उनके साथ रहेंगे। यहां से  मैक्रो दिल्‍ली जाएंगे। वह भारत के  75वें गणतंत्र दिवस समारोह  मुख्य अतिथि होंगे। पांच महीने में मेक्रों का यह दूसरा भारत दौरा है। पिछले साल वह नई दिल्ली में हुए जी-20 शिखर सम्मेलन में भाग लेने आए थे।  मैक्रों का दौरा कई मायनों में ऐतिहासिक रहने वाला है। जयपुर में  वह मोदी से द्विपक्षीय बातचीत करेंगे । इस दौरान दोनों देशों के बीच “आत्मनिर्भर भारत' को बढ़ावा देने  के लिए रक्षा सौदा हो सकता है।  भारत और फ्रांस मिलिट्री इंडस्ट्रियल  पर्टनरशिप पर भी विचार कर रहे है।  इसमें मिलिट्री मैन्युफैक्चरिंग को मजबूती दी जाएगी। संयुक्त रक्षाभ्यास बढ़ाने को लेकर दोनों  देशों के बीच बातचीत हो सकती है।  मैक्रों के साथ डेलिगेशन में कई मंत्री,  विज्ञान और संस्कृति से जुड़े सीईओ शामिल होंगे। मेक्रों का दौरा इस लिहाज से भी अहम है कि भारत और  फ्रांस ने पिछले साल रणनीतिक   साझेदारी की रजत जयंती मनाई है। इस साझेदारी के ढाई दशक के  दौरान दोनों देशों के बीच रक्षा, विज्ञान, प्रौद्योगिकी के साथ संस्कृति के क्षेत्र में आपसी सहयोग काफी  बढ़ा है। भारतीय सेना को आधुनिकतम साजो-सामान से लैस करने  को सर्वोच्च प्राथमिकता दी जा रही है। इसे देखते हुए फ्रांस के साथ रक्षा सहयोग  में और बदोतरी के आसार हैं। 

हिंद- प्रशांत क्षेत्र पर भी चर्चा के आसार --

हिंद- प्रशांत  क्षेत्र में चीन का बड़ता प्रभाव भारत और फ़्रांस दोनों देशों के लिए चिंता का विषय है। फ़्रांस का मानना है कि हिन्द महासागर और चीन सागर में चीन आक्रामक हो रहा है। इस क्षेत्र में अंतर रास्ट्रिय नियमो का पालन होना जरूरी है। फ़्रांस इन क्षेत्रों को खुले और समावेसी क्षेत्र के रूप में देखना चाहता है, जो किसी भी दबाव से मुक्त हो। भारत का भी यही मानना है कि मुख्य समुद्री  व्यापार मार्ग खुले रहने चाहिए। दोनों देशों के बीच इन सभी मुद्दों पर चर्चा होगी। मनमानी के खिलाफ दोनों देश साँझा फॉर्मूला तैयार करने पर सहमती तैयार् कर सकते हैं। 

मज़बूत सांजेदारी.. 


 भारत की आजादी के बाद चार दशक तक यूरोप में ब्रिटेन को भारत का सबसे करीबी साझेदार॒ 'माना जाता रहा, लेकिन पिछले तीन दशक में फ्रांस यूरोप में भारत का सबसे मजबूत साझेदार बनकर उभरा के है। रूस के बाद अब वह भारत का सबसे बड़ा दोस्त भी है। दोनों देशों के रिश्तों को सबसे ज्यादा मजबूती 1998 के रणनीतिक साझेदारी समझौते ने दी। भारत ने इस समझौते के बाद उसी साल राजस्थान के पोकरण में परमाणु परीक्षण किया।कई पश्चिमी देशों ने इसको लेकर भारत पर प्रतिबंध लगाए। फ्रांस इन देशों में शामिल नहीं हुआ। उल्टे उसने प्रतिबंधों को जल्द से जल्द हटाने के लिए भारत के प्रयासों का समर्थन किया। फ्रांस पिछले 26 साल में भारत को एयरक्राफ्ट और सबमरीन समेत कई रक्षा उत्पाद बेचने वाले दूसरे सबसे बड़े देश के तौर पर उभरा है। भारत और फ्रांस बहुध्रुवीय दुनिया के समर्थक है। पारंपरिक तौर पर दोनों रूस और अमरीका के बीच संतुलन रह बनाकर चलते हैं। इसके अलावा हिंद-प्रशांत क्षेत्र में चीन की बढ़ती दादागिरी भी दोनों देशों को करीब ला रही है। भारत लंबे समय तक गुट निरपेक्ष देश रहा है। 

रक्षा क्षेत्र में काफी संभावनाएं -भारत और फ्रांस के मध्य 

2019 में रफाल खरीद समझौते के  अंतर्गग सबसे पहला विमान जोधपुर एयरबेस पहुंचा था और यहां पर ही उनकी फ्लाइंग स्किल का परीक्षण हुआ। वर्ष 2021 में भारत-फ्रांस के मध्य विशेष युद्धाभ्यास डेजर्ट  भारी मशीनरी व मालवाहक क्षेत्र में भारत और फ्रांस भारतीय  मल्टी रोल हेलीकॉप्टर (आईएमआरएच) कार्यक्रम के तहत मिलकर काम कर रहे है।  इसके तहत हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड और फ्रांस की कम्पनी सफ्रान हेलीकॉप्टर इंजन के मध्य एमओयू है। 
मेक इन इंडिया कार्यक्रम के तहत भारतीय नौ सेना के लिए फ्रांस पी-75 कार्यक्रम के तहत स्कॉर्पिन श्रेणी की पनडुब्बी बना रहा है। 
 भारत का गार्डन रीच शिप “ बिल्डर्स एंड इंजीनियर्स लिमिटेड (जीआरएसई) और फ्रैंच नेबल ग्रुप नौसेना में नई तकनीक को लेकर संयुक्त रूप से काम कर रहे हैं। 
 दोनों देशों के बीच रक्षा औद्योगिक सहयोग को लेकर भारत का पेरिस स्थित दूतावास में डीआरडीओ का तकनीकी कार्यालय स्थापित किये गए है। इमानुएल मेक्रों की यात्रा रणनीतिक साझेदारी की मजबूती के लिए गत वर्ष जुलाई में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के फ्रांस दौरे के वक्‍त निर्धारित 'क्षितिज-2037' रोडमैप को आगे बढ़ाने में अहम साबित होगी। दोनों देशों के बीच रणनीतिक , साझेदारी के 25 साल पूरे होने पर इसे अगले 25 वर्षो तक आगे बढ़ाने के लिए भारत-फ्रांस ने नए साझा लक्ष्य तय किए हैं। इस लिहाज से मेक्रों की यात्रा को महत्त्वपूर्ण बताया जा रहा है। फ्रांसीसी दूतावास ने बुधवार को कहा, दोनों नेताओं की बातचीत में आपसी सहयोग बढ़ाने व रोडमेप के तीन स्तंभों के तहत नई पहलों को अंतिम रूप दिए जाने की उम्मीद है। ये तीन स्तम्भ सुरक्षा व सम्प्रभुता साझेदारी, जलवायु परिवर्तन व गरीबी उन्मूलन की चुनौतियों से निपटने के लिए पार्टनरशिप फॉर प्लेनेट व आम लोगों व पर्यटकों के जरिए भागीदारी बढ़ाने के उद्देश्य से स्थापित किए गए हैं। 

भारतीय गणतंत्र दिवस पर मुख्य अतिथि --



दूतावास के अनुसार मेक्रों की यात्रा भारतीय छात्रों, निवेशकों व पर्यटकों के लिए अधिक अवसर पैदा करने की फ्रांस की प्रतिबद्धता पर जोर देगी। मेक्रों ने वर्ष 2030 तक 30 हजार भारतीय छात्रों को प्रवेश की घोषणा की थी। इस पर विशेष बल दिया जाएगा। साथ ही फ्रांस के मेक इट' के बैनर तले संबंधों को बढ़ावा मिलेगा। तीसरी आधिकारिक भारत य्रात्रा -
मैक्रों की हाल के बरसों में तीसरी भारत यात्रा है। वे मार्च
2018 में शजकीय यात्रा पर और सिलंबर-2023 में जी-20 
शिखर सम्मेलन में आ चुके हैं। गणतंत्र दिवस पर मुख्य अतिथि के रूप में फ्रांस की यह छठी भागीदारी है, अन्य देशों 
की तुलना में सबसे ज्यादा है। 


भारत में फ़्रांस की कंपनियां --


 1. इंजी-सोलर कंपगी 

देश के सोलर एनर्जी सेगमेंट । की सबसे बड़ी विदेशी निवेशक। देश में 800 मेगावाट के सोलर प्रोजेक्ट व 280 मेगावाट का विंड पावर प्रोजेक्ट यूपी, आंध्र, राजस्थान, गुजरात, तमिलनाडु में। 

 2. पीएसए ग्रुप: वीकल् ; मैनयुन्युफेक्चरिंग कंपनी  

कंपनी ने सीके बिरला ग्रुप के साथ तमिलनाडु मे पावरट्रेन मैन्युफैक्चरिंग यूनिट स्थापित की है। पांच फीसदी आउटसोसिंग भारत से। 

3. रेनो: ऑटोमोबाइल कंपनी:  

भारत में कारों की मैन्युफैक्चरिंग कर रही। चेन्नई में कंपनी का प्रोडक्शन यूनिट तो मुंबई में डिजाइन स्टूडियो। 

 4. स्नाइडक इलेक्ट्रिक :

कंपनी की भारत में 28 फैक्ट्री, जिसमें इलेक्ट्रिक उपकरणों का होता है । 

5. साफरान: एयरक्राफ्ठ इंजन मेन्युफेक्चरर 

हैदराबाद और बेंगलूरु में कंपनी की तीन मैन्युफैक्चरिंग यूनिट्स। एचएएल के साथ जॉइंट वेंचर। 

फ़्रांस में भारत की कंपनियां --


1. महिंद्रा एंड महिंद्रा्

  टेक महिंद्रा ने एयरोस्पेस सेक्टर में अपने प्रोजेक्ट के लिए टूलूज में एक डेवलपमेंट सेंटर शुरू किया। 500 फ्रांसीसी को मिला है रोजगार।

2. टाटा ग्रुप

 टाटा कम्युनिकेशन, टीसीएस, टाटा एलेक्सी और टाटा स्टील जैसी कंपनियां फ्रांस में कर रहीं ऑपरेट। 1500 लोगों को दी है नौकरी। 

3. मदरसं सुमी

 फ्रांस में कंपनी के कई ' मैन्युफैक्चरिंग प्लांट हैं जो वाहनों के कल-पुर्जे बनाते हैं। रेनो, पीएसए, फॉक्सकैगन, जनरल मोटर्स हैं इसके ग्राहक। 

4. सिंटेक्स 

 कंपनी प्लास्टिक वाटर टैंक आदि बनाती है। फ्रांस में 74 करोड़ डॉलर मिलता है राजस्व। 

5. एनटीपीसी  

फ्रांसीसी एनर्जी कंपनी ईडीएफ के साथ मिलकर मिडिल ईस्ट के देशों, यूरोप और अफ्रीका में पावर प्रोजेक्ट ।डेवलपमेंट का काम करती है।